Ukraine Celebrating Christmas Day On 25 December Broke Century Long Tradition

Russia Ukraine War: लगभग दो साल तक जंग में जूझने के बाद यूक्रेन के एक फैसले ने दुनिया को चौंका दिया है. यूक्रेन ने एलान किया है कि वह अब 7 जनवरी को क्रिसमस नहीं मनाएगा, बल्कि वह भी पूरी दुनिया की तरह 25 दिसंबर को क्रिसमस त्योहार मनाएगा. यूक्रेन के इस फैसले ने 105 साल पुरानी परंपरा पर विराम लगा दिया है. दरअसल यूक्रेन और रूस में जूलियन कैलेंडर को माना जाता है और इस कैलेंडर के मुताबिक क्रिसमस 7 जनवरी को मनाया जाता है. 1917 में हुई रूस की क्रांति से पहले तक यूक्रेन 25 दिसंबर को ही क्रिसमस का त्योहार मनाता था. दुनिया में ज्यादातर देश ग्रेगोरियन कैलेंडर (Gregorian Calendar) को मानते हैं.

क्या है जूलियन कैलेंडर?

जूलियन कैलेंडर की शुरूआत 46 ईसा पूर्व में हुई थी. इस कैलेंडर में अलग अलग समय पर सुधार होते रहे हैं. इस कैलेंडर में खामी यह थी कि इसका मानना था कि पृथ्वी सूर्य का चक्कर लगाने में 365 दिन लगते हैं, जबकि इस कैलेंडर में 11 मिनट का अंतर था, इस वजह से कई सालों के बाद ये कैलेंडर बाकी कैलेंडर पिछड़ता चला गया और तारीखों में अंतर आ गया.

यूक्रेन पड़ा अलग-थलग?

यूक्रेन ने 25 दिसंबर को क्रिसमस मनाने के फैसला इसलिए किया ताकि पश्चिमी देशों को संदेश जाए कि वह उनकी परंपरा को अपना चुका है. दरअसल इजरायल हमास युद्ध के बाद यूक्रेन को विदेशों से पहले की तरह मदद नहीं मिल रही थी. पिछले कई महीनों से वह अमेरिका की ओर फंड के लिए ताक रहा है, लेकिन उसे अब तक फंड नहीं मिला है. इसके अलावा वह रूस को भी संदेश देना चाहता था कि वह एक जैसे नहीं है और न एक परंपरा को मानते हैं.

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