Indi Alliance Ramlila Maidan Lok Sabha Election Parties From Aap Congress To Dmk Establish Ground Analysis – Amar Ujala Hindi News Live

INDI Alliance Ramlila Maidan Lok Sabha Election Parties from AAP Congress to DMK establish ground analysis

इंडी गठबंधन की महारैली में पहुंचे कांग्रेस से एनसीपी-एसपी तक के नेता।
– फोटो : PTI

विस्तार


केरल में कांग्रेस और वाम दल लोकसभा चुनाव में आमने सामने है। पश्चिम बंगाल में कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस एक दूसरे के विरोध में ताल ठोक कर सियासी मैदान में उतर चुके हैं। पंजाब में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के नेता एक दूसरे को जमकर विरोध कर रहे हैं और आमने सामने चुनाव लड़ रहे हैं। वावजूद इसके रविवार को रामलीला मैदान में विपक्षी दलों के सभी बड़े नेता लोकतंत्र बचाओ रैली में एक मंच पर जुटे। राजनीतिक जानकारों का कहना है कि विपक्षी दलों के गठबंधन समूह INDIA के नेताओं ने रामलीला मैदान में एकजुट होकर यह साबित कर दिया कि भले ही वह सियासी मैदान में एक दूसरे के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हो। लेकिन भारतीय जनता पार्टी के खिलाफ सभी एकजुट है। विपक्षी गठबंधन के नेता भी यही मानते हैं कि रविवार को आयोजित रामलीला मैदान में लोकतंत्र बचाओ रैली ने गठबंधन को ऑक्सीजन दे दिया है।

रविवार को विपक्षी दलों के नेताओं की एकजुटता से एक बार फिर से सियासी सरगर्मी इस बात की शुरू हुई क्या गठबंधन के दल अलग-अलग चुनाव लड़ने के बाद भी एक है। राजनीतिक जानकार जतिन पुरोहित कहते हैं कि कम से कम रविवार की रैली ने इतना तो साबित कर दिया कि अभी भी विपक्षी दलों के नेताओं में कम से कम भारतीय जनता पार्टी के खिलाफ लड़ने की एकजुट तो दिखी है। अब भले ही वह मामला विपक्षी दलों के नेताओं की हिरासत में लिए जाने का हो। या फिर जांच एजेंसियों की ओर से की जाने वाली प्रक्रिया को तेजी से आगे बढ़ाए जाने की हलचल के विरोध में हो। लेकिन दिल्ली में रविवार को उत्तर से दक्षिण और पूर्व से लेकर पश्चिम तक के नेताओं ने एकजुट होकर गठबंधन को मजबूत बताया। 

जतिन कहते हैं कि इस कार्यक्रम में वह सभी दलों के नेता भी शामिल थे जो लोग अलग-अलग राज्यों में कांग्रेस के खिलाफ मिलकर चुनाव लड़ रहे हैं। इसमें तृणमूल कांग्रेस के नेता डेरक ओ ब्रायन से लेकर सागरिका घोष और वाम दल के नेता सीताराम येचुरी से लेकर पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान तक एक मंच पर मौजूद दिखे। रविवार को आयोजित इस कार्यक्रम के दौरान कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी इस बात को स्वीकार किया भले ही अलग-अलग राज्यों में कांग्रेस के खिलाफ कई राजनीतिक दल चुनाव लड़ रहे हों। लेकिन बत जब विपक्षी दलों की एकता और उनके ऊपर हो रहे अत्याचार की हुई तो गठबंधन के सभी राजनीतिक दल एक जुट होकर एक मंच पर आ गए। मल्लिकार्जुन खड़गे कहते हैं कि यही गठबंधन की सबसे बड़ी ताकत है। जो अलग-अलग चुनाव लड़ने के बाद भी INDIA गठबंधन का हिस्सा हैं।

राजनीतिक जानकार सुरेंद्र सिन्हा कहते हैं कि जिस तरीके से बीते कुछ समय में गठबंधन के कुछ नेता अलग-अलग होकर नए रास्ते तलाशने लगे। तो चर्चा यह होने लगी कि विपक्षी दलों का गठबंधन पूरी तरह से कमजोर हो चुका है। सुरेंद्र कहते हैं कि इसी दौरान नीतीश कुमार भी अलग हुए और जयंत  चौधरी भी अलग होकर भारतीय जनता पार्टी के साथ चले गए। पंजाब में आम आदमी पार्टी ने कांग्रेस के खिलाफ चुनाव लड़ने का सियासी बिगुल बजा दिया। तो पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस ने भी सियासी बिगुल बजाते हुए कांग्रेस के खिलाफ मैदान में अपने प्रत्याशी उतार दिए। गठबंधन के ही साथी वामदल ने भी केरल में कांग्रेस के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। ऐसे में विपक्षी दलों के गठबंधन समूह INDIA की उपलब्धता पर ही सवालिया निशान उठने लगे। लेकिन रविवार को इन तमाम तल्खियों और आपस में ही हो रही चुनावी जंग के बीच में लोकतंत्र बचाओ रैली गठबंधन को ऑक्सीजन दे गई।

रामलीला मैदान से ही कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने इशारों इशारों में सहयोगी दलों के नेताओं को एक दूसरे की टांग खिंचाई और बेवजह के आरोप लगाने से बचने की सलाह दी। मल्लिकार्जुन खरगे ने पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान की ओर इशारा करते हुए कहा कि हम पंजाब में भले ही चुनाव अलग लड़ रहे हो। लेकिन हमारे गठबंधन के नेताओं पर अगर अत्याचार होता तो हम सब एक साथ खड़े हैं। कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता सुशील आनंद कहते हैं कि इस दौरान समाजवादी पार्टी के नेता अखिलेश यादव से लेकर तेजस्वी यादव और तृणमूल कांग्रेस की सांसद सागरिका घोष से लेकर डेरेक ओ ब्रायन ने भी गठबंधन की मजबूती की बात कहकर चुनाव से पहले विपक्ष की उस उम्मीद पर पानी फेरा है, जो गठबंधन को कमजोर बता रहे थे।




Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *