IND Vs SA: Rohit Sharma Targeted ICC Match Referee Who Gives Rating To The Pitches Said If The Ball Spins Then | IND Vs SA: रोहित शर्मा ने पिचों को रेटिंग देने वाले ICC मैच रेफरी पर साधा निशाना, कहा

Rohit Sharma on Pitch Rating: भारत ने गुरुवार को केपटाउन में खेले गए दूसरे टेस्ट मैच में सात विकेट से हरा दिया. यह टेस्ट मैच सिर्फ डेढ़ दिन में ही खत्म हो गया, जो गेंदों के लिहाज़ से टेस्ट क्रिकेट के इतिहास का सबसे छोटा टेस्ट मैच भी रहा. भारत और दक्षिण अफ्रीका का दूसरा टेस्ट मैच सिर्फ 642 गेंद में ही पूरा हो गया. इस मैच के बाद भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने पिच को लेकर आईसीसी मैच रेफरी पर निशाना साधा. 

भारत ने सिर्फ 106.2 ओवर में ही दक्षिण अफ्रीका को सात विकेट से हरा दिया. मैच के बाद भारतीय कप्तान ने कहा कि उन्हें ऐसी पिचों पर खेलने से दिक्कत नहीं है, लेकिन भारत में जब गेंद पहले दिन टर्न होती है तो फिर लोग शिकायत न करें. 

रोहित शर्मा ने मैच के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में एक सवाल के जवाब में कहा, “हम सभी ने देखा कि इस टेस्ट में क्या हुआ और पिच कैसा खेल रही थी. ईमानदारी से कहूं तो मुझे इस तरह की पिचों पर खेलने में कोई आपत्ति नहीं है. लेकिन जब तक कि हर कोई भारत आने पर अपना मुंह बंद रखेगा.”

रोहित ने आगे कहा, “जब आप टेस्ट क्रिकेट खेलने के लिए यहां (दक्षिण अफ्रीका) आते हैं तो आप टेस्ट क्रिकेट को सर्वोच्च पुरस्कार और शिखर के बारे में बात करते हैं और फिर आपको इस पर कायम रहना चाहिए. आपको इसका सामना करना चाहिए. भारत में पहले दिन पिच टर्न लेना शुरू करती है और वे ‘धूल का गुबार, धूल का गुबार’ बोलना शुरू कर देते हैं. यहां भी पिच पर दरार थीं.”

इंग्लैंड के पूर्व सलामी बल्लेबाज क्रिस ब्रॉड दो टेस्ट मैचों की सीरीज के लिए आईसीसी मैच रैफरी थे और रोहित का मानना है कि आईसीसी पैनल में शामिल रैफरी को न्यूट्रल होना चाहिए. रोहित ने आक्रामक होते हुए कहा कि तटस्थ रहना महत्वपूर्ण है, विशेषकर मैच रैफरी का. कुछ मैच रैफरी को इस बात पर नजर रखने की जरूरत है कि वे पिचों का मूल्यांकन कैसे करते हैं. 

अहमदाबाद में 2023 वर्ल्ड कप फाइनल के लिए इस्तेमाल की गई पिच के लिए आईसीसी मैच रेफरी एंडी पाइक्रॉफ्ट का ‘औसत’ रेटिंग देना भी रोहित और उनकी टीम को पसंद नहीं आया. उन्होंने कहा, “मुझे अभी भी विश्वास नहीं हो रहा है कि विश्व कप फाइनल की पिच को ‘औसत से नीचे’ रेटिंग दी गई थी. वह खराब पिच कैसे हो सकती है? आईसीसी और रेफरी को इस पर गौर करना शुरू करना होगा. पिचों का इस आधार पर मूल्यांकन करें कि वे इसे कैसे देखते हैं, ना कि देशों (मेजबान) के आधार पर. मैं इस तरह की पिचों के पक्ष में हूं (न्यूलैंड्स की तरह).”

कुछ चुनिंदा मैच अधिकारियों के प्रति अविश्वास तब स्पष्ट हो गया जब रोहित ने व्यंग्यात्मक ढंग से कहा कि वह पिचों को रेटिंग देने के लिए मैच रैफरी द्वारा उपयोग किए जाने वाले मापदंडों के बारे में जानना पसंद करेंगे. उन्होंने कहा, “मैं देखना चाहूंगा कि पिच को कैसे रेटिंग दी गई है. मैं इसे अभी देखना चाहता हूं. मैं चार्ट देखना चाहता हूं कि वे पिचों को कैसे रेटिंग देते हैं. स्पष्ट रूप से मुंबई, बेंगलुरू, केपटाउन, सेंचुरियन, सभी अलग हैं. पिचें तेजी से बिगड़ती हैं, हालात अलग होते हैं.”

रोहित ने पूरी तरह से स्पिन की अनुकूल पिच के आलोचकों को आड़े हाथों लेते हुए कहा, अगर गेंद पहली गेंद से ही सीम करती है तो ठीक है लेकिन अगर गेंद टर्न करने लगती है. अगर गेंद टर्न होने लगती है तो उन्हें यह पसंद नहीं आता. अगर आप चाहते हैं कि गेंद केवल सीम हो और टर्न न हो, तो यह गलत है. 

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