कैंसर, डायबिटीज और अस्थमा का “काल” है अरुणाचल में उगने वाला ये मसाला! 90 % घरों में होता है इस्तेमाल

हिना आज़मी/ देहरादून. भारत अपने मसालों के लिए काफी फेमस है. मध्य काल से ही यहां के मसालों की दुनियाभर में काफी डिमांड रहती है. मसालों के बिना आपकी थाली का स्वाद फीका ही रहता है. बता दें कि सिर्फ स्वाद ही नहीं, ये मसाले सेहत के लिहाज से भी काफी अहमियत रखते हैं. किचन में आसानी से मिलने वाले ये मसाले भले ही आपको साधारण लगते हों, लेकिन ये आपकी सेहत के लिए काफी फायदेमंद साबित हो सकते हैं. ऐसा ही एक मसाला है स्टार एनिस यानी चक्र फूल, जिसमें कई चमत्कारी गुण होते हैं. इसस हृदय संबंधी रोगों के अलावा डायबिटीज का इलाज भी होता है.

दुनियाभर में स्टार एनिस मसाले और दवाओं के रूप में कई प्रकार से उपयोग किया जाता है. उसका कारण यह है कि इस छोटे से “फूल” में विटामिन्स और मिनरल्स भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं, जो शरीर और दिमाग को भी दुरुस्त रखते हैं. बताया जाता है कि यह करीब तीन हजार साल से चीन में उपयोग किया जा रहा है.यह मसाला चीन, जापान और वियतमान में पाया जाता है. इसका स्वाद लगभग सौंफ़ जैसा होता है. हालांकि, दोनों के फायदे अलग-अलग हैं

सौंफ़ जैसा होता है स्वाद
भारत में यह सिर्फ एक ही राज्य यानी अरुणाचल प्रदेश में ही उगता है. इसे भारत में बादियान भी कहा जाता है. इसे आप फूल न समझें क्योंकि यह पेड़ में फूल से निकलने वाला फल है. इसमें खुशबूदार तीखी गंध होती है. इसमें कुछ-कुछ मीठा और थोड़ा तीखापन होता है. इसका अपना स्वाद तो है ही, साथ ही रगड़ने पर यह सौंफ जैसी गंध और स्वाद भी देता है. भारत में इसे गरम मसाले के रूप में उपयोग में किया जाता है लेकिन अलग से यह बिरयानी, पुलाव या मांसाहारी भोजन में भी प्रयोग में लाया जाता है. पूरी दुनिया में भोजन में इसका खूब उपयोग होता है और नॉनवेज डिशेज को मसालेदार बनाने, कन्फेक्शनरी, अचार, शीतल पेय, बेकरी उत्पादों में क़ई तरीकों से इसे डाला जाता है. जैम, पुडिंग, सिरप में भी इसका फ्लेवर डाला जाता है.

कैंसर, डायबिटीज और अस्थमा की अचूक दवा
उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में पतंजलि में पिछले 5 वर्षों से कार्यरत डॉक्टर शालिनी जुगरान ने लोकल 18 को जानकारी दी कि चक्र फूल मसाले में आयरन, मैग्नीशियम, कैल्शियम और मैगनीज की अच्छी मात्रा होती है. इसमें कई विटामिन जैसे बी1, बी2, बी3 और बी6 और कुछ विटामिन ई भी पाए जाते हैं. इसके अलावा इसके बीज में सेलेनियम, जिंक और कॉपर भी अच्छी मात्रा में होता है. इसमें हाई लेवल का एंटीऑक्सीडेंट पाया जाता है, जो शरीर को नुकसान पहुंचाने वाले एलिमेंट्स को खत्म करता है. यह कैंसर, डायबिटीज और अस्थमा के लिए अचूक दवा माना जाता है. इसमें एंटी इन्फ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं, जो शरीर में सूजन को कम करते हैं. पेट की समस्याओं को दूर करने के लिए भी लोग चक्र फूल का उपयोग करते हैं. इसके सेवन से दिल संबंधी बीमारियों और डायबिटीज का खतरा भी कम होता है.

चीन में होता है 90 उत्पादन
फार्मास्युटिकल इंडस्ट्री में स्टार एनिस का उपयोग दवाओं को बनाने में किया जाता है. इसमें पाए जाने वाले शिकिमिक एसिड से इन्फ्लुएंजा रोधी दवा ओसेल्टामिविर बनाई जाती हैं. स्पाइसेस बोर्ड भारत के मुताबिक, चक्र फूल का भारत में उत्पादन कुछ हद तक अरुणाचल प्रदेश में होता है लेकिन वहां यह कब से उग रहा है, इसकी जानकारी बोर्ड को नहीं है. फूड हिस्टोरियन अनुमान लगाते हैं कि क्योंकि अरुणाचल प्रदेश चीन के पास है, इसलिए वहां भी यह हजारों वर्ष से उग रहा है. खास बात यह है कि स्टार आकार के चक्र फूल का विश्व में जितना भी उत्पादन होता है, उसका 90 फीसद भाग चीन में ही पैदा होता है.

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